गंगा किनारे पहले की तरह बनेंगे मंदिर, मठ और आश्रम।
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गंगा किनारे पहले की तरह बनेंगे मंदिर, मठ और आश्रम।
AiN भारत न्यूज़ ब्यूरो रिपोर्ट प्रयागराज
प्रयागराज। गंगा किनारे बाढ़ प्रभावित क्षेत्र के 500 मीटर दायरे में सामान्य निर्माण नहीं होंगे, लेकिन मंदिर, मठ और आश्रम बनाए जा सकेंगे। गंगा किनारे मंदिर, मठ और आश्रम का मानचित्र पूर्व की भांति शर्तों के साथ पास होगा। गंगा किनारे मंदिर, मठ और आश्रम निर्माण की शर्तों का जिक्र महायोजना में किया गया है। जबकि गंगा किनारे बाढ़ प्रभावित क्षेत्र में निर्माण पर कोई जिक्र नहीं है। ढाई दशक पुराने शासनादेश का हवाला देते हुए महायोजना- 2031 में साफ लिखा है कि गंगा किनारे 200 मीटर दायरे में मंदिर, मठ और आश्रम के निर्माण कराए जा सकेंगे, लेकिन सीवर, जल निकासी आदि की व्यवस्था करनी होगी। शर्तों का उद्देश्य गंगा को प्रदूषण से बचाना है। महायोजना-2031 में गंगा किनारे 300 मीटर दायरे में हरित पट्टी भी विकसित करने की बात कही गई है।प्रयागराज विकास प्राधिकरण के मुख्य नगर नियोजक टीपी सिंह ने बताया कि गंगा किनारे 200 मीटर दायरे में मंदिर, मठ और आश्रम निर्माण का पुराना शासनादेश है। जबकि गंगा किनारे बाढ़ प्रभावित क्षेत्र के 500 मीटर दायरे में निर्माण पर न्यायालय ने रोक लगाई है, इसलिए इसका जिक्र महायोजना में नहीं है। गंगा किनारे सामान्य निर्माण का मामला एनजीटी में विचाराधीन है। एनजीटी का जो भी फैसला होगा, उसे लागू किया जाएगा।