धान की लहलहाती फसल किसानों के लिए बना आकर्षण का केंद्र
धान की लहलहाती फसल किसानों के लिए बना आकर्षण का केंद्र
महराजगंज, पनियरा ब्लाक अंतर्गत ग्राम सभा विशुनपुरा के किसान नरेंद्र यादव वर्ष में दो बार धान की खेती करते हैं। क्षेत्र के लिए एक नये प्रयोग के तौर पर देखा जा रहा है। ऐसा करने से धान की खेती करने वाले किसान इस ओर आकर्षित हो रहे हैं। नरेंद्र यादव की लहलहाती धान की फसल किसानों के लिए आकर्षण का केंद्र बना हुआ हैं।
वर्ष 1998 में हिंदी विषय के एम ए करने के बाद नरेंद्र यादव ने खेती करना शुरू किए तथा एक कृषि बीज भंडार भी खोला। आम किसानों को तरह तरह की परंपरागत खेती को करने की तरीको को बताया। कुछ समय बिताने के बाद गांव के अन्य किसानों से हट कर नरेंद्र यादव ने धान की दो फसल लेने का प्रयास करने लगे।अब बात रही धन की सिंचाई की तो नहर की समस्याओं को देखते हुए सरकार से मिले अनुदान सोलर पैनल का सहारा लिया। उन्होंने सिल्की धान की प्रजाति की खेती की जो 110 से 120 दिनों में तैयार हो जाती हैं। जो आज किसानों के लिए आकर्षण का केंद्र बना हुआ है।नरेंद्र यादव से पूछे जाने पर उन्होंने बताया कि यदि किसान चाहे एक साल में एक रबी की और दो खरीफ़ में धान की खेती कर सकता हैं। रिपोर्टर विकास कुमार यादव