नन्हे मुन्ने बच्चे भगवान का दूसरे रूप है- कलेक्टर श्रीमती वैद्य
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नन्हे मुन्ने बच्चे भगवान का दूसरे रूप है- कलेक्टर श्रीमती वैद्य
एडॉप्ट एन आंगनवाड़ी अभियान अंतर्गत खिलौना वितरण कार्यक्रम संपन्न
अनूपपुर मध्य प्रदेश
➡️ कलेक्टर वंदना वैद्य ने कहा कि नन्हे मुन्ने बच्चे भगवान के दूसरे रूप होते हैं। नन्हे मुन्ने बच्चे अगर घर में खुशी से किलकारी मारते हैं तो घर में एक रौनक से जाग उठती है। नन्हे-मुन्ने बच्चों से घर और आंगन दोनों खुशियों के भंडार से जगमगा जाते हैं। बच्चे देश के असली धरोहर हैं तथा बच्चे आने वाले भारत के भविष्य हैं। बच्चे भारत को आने वाले समय में एक नई ऊंचाई एवं शिखर तक लेकर जाएंगे। मध्य प्रदेश सरकार के मंशा के अनुरूप खिलौना वितरण कार्यक्रम आंगनबाड़ी कार्यकर्ता का बस नहीं, बल्कि यह अभियान आम जनमानस को आंगनबाड़ी से जुड़ने का है। जिससे लोग आंगनवाड़ी से जुड़कर कुपोषण तथा बच्चों को होने वाले अन्य बीमारियों से लोगों को जागरूक कर सकें तथा महिला एवं बाल विकास विभाग मैप बच्चों के लिए संचालित योजनाओं से अवगत हो सकें। कलेक्टर ने जिले के सभी लोगों से अपील करते हुए कहा कि कुपोषण को दूर करने में सभी लोग इस अभियान में सहभागिता निभाएं। उक्त उद्बोधन कलेक्टर वंदना वैद्य ने आज कटकोना में आयोजित एडॉप्ट एन आंगनवाड़ी अभियान अंतर्गत “खिलौना वितरण कार्यक्रम” में दिए।
कार्यक्रम में कलेक्टर ने आशा कार्यकर्ता एवं आंगनवाड़ी कार्यकर्ता की प्रशंसा करते हुए कहा कि यह दोनों महिला एवं बाल विकास विभाग के आंख और कान है, जो कुपोषण में अहम भूमिका निभाते हैं। आशा कार्यकर्ता एवं आंगनबाड़ी कार्यकर्ता का मुख्य दायित्व कुपोषित बच्चों को महिला एवं बाल विकास विभाग के अधिकारियों एवं कर्मचारियों के साथ मिलकर एनआरसी में भर्ती कराना है तथा कुपोषित बच्चों की जानकारी गांव में भ्रमण कर प्राप्त करना है। कलेक्टर ने कहा कि इसमें आम जनमानस भी अपना सहभागिता निभाकर सहयोग प्रदान कर सकते हैं तथा उनके घर के आसपास या अगल-बगल कोई ऐसा बच्चा है जो कुपोषण से ग्रसित है, उसकी सूचना जिला प्रशासन या महिला बाल विकास विभाग के अधिकारियों को दे सकते हैं तथा वह बच्चे को एनआरसी में भर्ती कराकर उसके भविष्य को प्रकाशमान एवं उज्जवल बना सकते हैं। यह एक बहुत ही पुण्य का काम है।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास विभाग शालिनी तिवारी ने कहा कि बच्चे प्रतिभाशाली भारत के निर्माणकर्ता है। यह नन्हे मुन्ने बच्चे भारत के आने वाले कल हैं। उनकी कुशलता और बौद्धिकता पर ही कल को देश निर्भर करेगा। इसलिए बच्चों की परवरिश अच्छी होनी चाहिए। उन्हें हर तरह की योग्य शिक्षा मिलनी चाहिए जिससे वह अपना बहुमुखी विकास कर सके। यदि ऐसा करने में हम सफल होते हैं तो कल को वही बच्चे देश का बहुमुखी विकास करेंगे। हम सभी की जिम्मेदारी है कि बच्चों को अच्छी शिक्षा दी जाए। साथ ही उनको अच्छे संस्कार भी दिए जाएं। उन्होंने कहा कि हमें कुपोषण से लड़ना है तो समाज में हर एक व्यक्ति को आगे आना होगा तथा इस अभियान से जुड़कर जिले को कुपोषण मुक्त बनाना होगा। कार्यक्रम रिलायंस सीबीएम तथा सीएसआर शहडोल द्वारा आयोजित किया गया। इस दौरान जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास विभाग ने बताया कि महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा आमजन के सहयोग से विभिन्न वार्डो एवं ग्रामों में बच्चों को खिलौने का वितरण किया जा रहा है।
खिलौना वितरण कार्यक्रम में कलेक्टर ने वहां आए बच्चों के संबंध में उनके परिजनों से जानकारी प्राप्त की तथा इस दौरान उन्होंने कुपोषित एवं अति कुपोषित बच्चों के संबंध में जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास विभाग से जानकारी ली। इस दौरान कलेक्टर ने वहां उपस्थित बच्चे जिनका वजन कम लग रहा था एवं कुपोषित नजर आ रहे थे, उनका वजन कराया तथा उनके पोषण के संबंध में उनके परिजनों से जानकारी प्राप्त की, जिस पर बच्चों के परिजनों ने कलेक्टर को उनके पोषण के संबंध में अवगत कराया तथा जो बच्चे कुपोषित लग रहे थे उन्हें कलेक्टर ने तुरंत जिला चिकित्सालय के एनआरसी वार्ड में भर्ती करने के निर्देश जिला कार्यक्रम एवं परियोजना अधिकारी महिला एवं बाल विकास विभाग दिए। कार्यक्रम में कलेक्टर ने बच्चों को विभिन्न प्रकार के खिलौने एवं पोषण आहार किट का वितरण किया तथा बच्चों के परिजनों को पोषण आहार के संबंध में विधिवत जानकारी दी।
कार्यक्रम में जिला परियोजना अधिकारी बुढ़ार नाजबीन खान एवं रिलायंस फाउंडेशन के राजीव श्रीवास्तव सहित नन्हे-मुन्ने बच्चों के परिजन उपस्थित थे।