सभी ने कड़ी सुरक्षा में मनाए त्यौहार, लेकिन वो खुद खेल नहीं पाए होली, हमारे पुलिस के जवानों को दिल से हैपी होली
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सभी ने कड़ी सुरक्षा में मनाए त्यौहार, लेकिन वो खुद खेल नहीं पाए होली। हमारे पुलिस के जवानों को दिल से हैपी होली
प्रयागराज। होली—खुशियों, उमंग और रंगों का त्योहार। हर गली-मोहल्ले में ढोल-नगाड़ों की धुन गूंजती है, गुलाल उड़ते हैं, चेहरे मुस्कुराहटों से भर जाते हैं। लेकिन इस रंग और उल्लास के बीच कुछ ऐसे भी हैं, जिनकी होली रंगों से नहीं, बल्कि कर्तव्य के एहसास से सराबोर होती है। ये हैं हमारे पुलिस के जवान—जो त्यौहार पर भी अपनी ड्यूटी निभाते हैं, ताकि शहर की खुशियाँ बनी रहें।
जब हम रंगों में डूबे, वो वर्दी में मुस्तैद रहे
देशभर से आए ये कर्मठ प्रहरी, जब आमजन अपने परिवार संग होली खेलते हैं, तब कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए तैनात रहते हैं। कोई हुड़दंग न हो, कोई अप्रिय घटना न घटे—इसी संकल्प के साथ वे चौकसी में डटे रहते हैं। सड़कों पर हर मोड़ पर, हर चौराहे पर वे खड़े मिलते हैं, ताकि हर किसी की होली सुरक्षित और खुशनुमा रहे।
परिवार से दूर, पर हमारी सुरक्षा में हमेशा पास
जब पूरा शहर अपने अपनों संग त्योहार मनाता है, तब ये जवान अपने घर-परिवार से दूर रहकर हमारी सुरक्षा में तैनात होते हैं। उनकी होली में गुलाल नहीं, लेकिन जिम्मेदारी का रंग गाढ़ा होता है। वे अपने बच्चों को गोद में उठाकर रंग नहीं लगा सकते, लेकिन हमारे बच्चों की मुस्कान की हिफाजत जरूर करते हैं।
होली के रंगों से बढ़कर त्याग और समर्पण का रंग
त्याग, समर्पण और सेवा—यही वो रंग हैं जो इन पुलिसकर्मियों की वर्दी में बसे होते हैं। जब हम दोस्तों पर रंग डालते हैं, तब वे अपनी वर्दी पर सिर्फ कर्तव्य का रंग ओढ़े रहते हैं। जब हम मस्ती में सराबोर होते हैं, तब वे चौक-चौराहों पर सतर्क खड़े रहते हैं।
हमारा भी फर्ज बनता है कि हम इन वीर सिपाहियों के निस्वार्थ सेवा भाव को समझें और उनका सम्मान करें। हमें चाहिए कि हम त्यौहार को मर्यादा और अनुशासन के साथ मनाएँ, ताकि इन प्रहरीयों की मेहनत सफल हो।
जब शहर रंगों में झूमता है, तब प्रहरी सड़कों पर डटे रहते हैं
जब गली-गली में ढोल की थाप बजती है,
तब प्रहरी कानून-व्यवस्था की ढाल बनते हैं।
जब हम गुलाल उड़ाकर होली में रंग जाते हैं,
तब प्रहरी मुस्तैदी से कर्तव्य निभाते हैं।
जब पूरा शहर होली की मस्ती में खो जाता है,
तब प्रहरी हर गली-मोहल्ले में तैनात रहता है।
अपने परिवार से दूर, अपनी खुशियों को भूल,
वो बस हमारी सुरक्षा का दीप जलाता है।
सैल्यूट है उन वीर प्रहरियों को!
इस होली, जब आप अपने प्रियजनों संग रंगों में भीगें, तो एक पल ठहरकर उन पुलिसकर्मियों को भी याद करें, जो आपकी सुरक्षा के लिए सड़कों पर तैनात हैं। उनका त्याग, उनकी सेवा, और उनका समर्पण ही असली कर्तव्य का रंग है—जिसे कोई पानी नहीं धो सकता।
उनकी सेवा को हमारा नमन है और उनकी हिफाजत को हमारा सलाम है!
ऐसे उन प्रहरियों को हमारे तरफ से होली मुबारक –
अमृत प्रभात की ओर से हमारे पुलिस के जवानों को होली की ढेर सारी शुभकामनायें।
