टूदे गांव के किसान कल्लू सिंह ने बताया कि पिछले साल भी नील गायों ने हमारी लगभग पूरी फसल बर्बाद कर दी थी
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टूदे गांव के किसान कल्लू सिंह ने बताया कि पिछले साल भी नील गायों ने हमारी लगभग पूरी फसल बर्बाद कर दी थी। हमने स्थानीय प्रशासन से गुहार लगाई, लेकिन आज तक कोई समाधान नहीं निकला। इस साल भी वही हाल है। खरीद के किसान धर्मेंद्र सिंह का कहना है कि हम रात-दिन खेतों की रखवाली करते हैं, लेकिन झुंड में आने वाली नील गायों को रोकना नामुमकिन हो जाता है। क्षेत्रीय किसानों ने कहा कि नील गायों की समस्या अब साल-दर-साल बढ़ती जा रही है। प्रशासन की उदासीनता से उनकी परेशानियां और बढ़ गई हैं।
किसानों ने सरकार और प्रशासन से मांग की है कि नील गायों को रोकने के लिए ठोस कदम उठाए जाएं। इन नील गायों को सुरक्षित तरीके से जंगलों में ले जाया जाए या उनके नियंत्रण के लिए विशेष अभियान चलाया जाय।
स्टेशन पर बढ़ रहा है बंदरों का आतंक, कई बंदरों ने किया है घायल
पीडीडीयू नगर।पं. दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन पर बंदरों के उत्पात से यात्री परेशान हैं। हर साल सौ यात्री बंदरों के हमले से घायल होते हैं लेकिन रेल प्रशासन सुरक्षा के कोई उपाय नहीं कर सका।
डीडीयू स्टेशन पर बंदरों का आतंक हर साल सैकड़ों यात्री बंदरों के हमले से होते हैं घायल,
महाकुंभ के दौरान होगी यात्रियों की भीड़।बंदरों की समस्या के लिए नही है कोई समाधान,जिला प्रशासन को लिखा गया पत्र
पं. दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन पर बंदरों के उत्पात से यात्री परेशान हैं। हर साल सौ यात्री बंदरों के हमले से घायल होते हैं लेकिन रेल प्रशासन सुरक्षा के कोई उपाय नहीं कर सका।
महाकुंभ के दौरान यात्रियों की भीड़ को देखते हुए अधिकारी तैयारियों में जुटे हैं लेकिन बंदरों से निपटने पर ध्यान नहीं है। ऐसे में 500 बंदरों की टोली यात्रियों के लिए खतरा बन सकती है। प्रयागराज में महाकुंभ 13 जनवरी से शुरू हो रहा है, जो डेढ़ महीने तक चलेगा। इसमें 40 करोड़ से ज्यादा श्रद्धालुओं के पहुंचने की संभावना है।
इस दौरान पीडीडीयू जंक्शन से होकर चार सौ से अधिक ट्रेंने चलाई जाएंगी। प्रशासन का अनुमान है स्नान पर्व के दिन पीडीडीयू जंक्शन पर एक लाख से ज्यादा श्रद्धालु आएंगे। इसलिए यहां भी यात्रियों के ठहरने, भीड़ को नियंत्रित करने और सुरक्षा के प्रबंध किए जा रहे हैं लेकिन कई वर्षों से उत्पात मचा रहे बंदरों से निपटने की इंतजाम नहीं किए गए। यहां 500 से ज्यादा बंदर हैं, जो यात्रियों का सामान छीनने के साथ हमला भी कर देते हैं।
इस सम्बंध में वरीय मंडल वाणिज्य प्रबंधक सुधांशु रंजन का कहना है कि बंदरों की समस्या के समाधान के लिए जिला प्रशासन को पत्र लिखा गया है। जल्द ही बंदरों को भगाने के उपाय किए जाएंगे।
राशन कार्ड के आधार पर
नई फेमिली आईडी नगर पालिका की ओर से पहल
डूडा की ओर से कराया जा रहा उपलब्ध,फेमिली कार्ड के होते हैं कई फायदे
पीडीडीयू नगर चंदौली। जिले में केंद्र और प्रदेश सरकार की ओर से संचालित विभिन्न योजनाओं के लाभ के लिए फेमिली आइडी बनाई जा रही है। राशन कार्ड के आधार पर पंजीकरण कराकर नई फेमिली आईडी नगर पालिका और डूडा की ओर से उपलब्ध कराई जा रही है। जिनके पास राशन कार्ड नहीं है उन्हे पंजीकरण कराकर आइडी दी जा रही है। इसके प्रति लाभार्थियों को जागरूक करने के लिए शनिवार को नगर पालिका परिषद के सभागार में जागरूकता गोष्ठी का आयोजन किया गया। इसमें जनप्रतिनिधियों एवं कर्मचारियों की उपस्थिति में लाभार्थियों को जानकारी देकर जागरूक किया गया।
वक्ताओं ने कहा कि परिवारों के लिए एक परिवार एक पहचान के अंतर्गत प्रत्येक परिवार को एक फैमिली आईडी उपलब्ध करायी जा रही है। इससे लाभार्थीपरक योजनाओं के बेहतर एवं पारदर्शीय संचालन, योजनाओं की प्रक्रिया में सरलीकरण, योजनाओं का समयबद्ध एवं परिवार को योजना का लाभ दिलाने में आसानी होगी। परिवार आईडी के माध्यम से प्राप्त एकीकृत डाटा बेस के आधार पर रोजगार से वंचित परिवारों की पहचान कर उन्हें रोजगार के समुचित अवसर प्राथमिकता पर उपलब्ध कराये जा सकेगें।
इस सम्बंध में जिला अर्थ एवं संख्याधिकारी डा. मुनीश कुमार ने बताया की राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना से लाभान्धित परिवारों के राशन कार्ड की संख्या ही परिवारों की फैमिली आईडी है। राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना से आच्छादित न होने वाले ऐसे परिवार जो राशन कार्ड के पात्र नहीं है उन्हें फैमिली आईडी पोर्टल के माध्यम से लाभ मिलेगा।