अगले 3 महीने तक भीषण गर्मी के आसार
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                अगले 3 महीने तक भीषण गर्मी के आसार
इस वर्ष लोगों को सताएगी भयंकर गर्मी
AiN भारत न्यूज़ ब्यूरो रिपोर्ट प्रयागराज
कोरांव प्रयागराज कोरांव में अब फिर सताएगी प्रचंड गर्मी, प्रयागराज से -झांसी से लेकर कानपुर तक अलर्ट जिलों में लू का अलर्ट, कुछ जगहों पर बारिश की संभावना कोरांव में एक बार फिर मौसम ने रुख बदला है। बीते दिनों की तेज बारिश, आंधी और तूफान के दौर पर फिलहाल ब्रेक लग गया है। गुरुवार और शुक्रवार को प्रदेश के लगभग सभी जिलों में आसमान साफ रहने की संभावना है। हालांकि, यह राहत ज्यादा दिनों तक टिकेगी नहीं, क्योंकि 16 अप्रैल से एक नया पश्चिमी विक्षोभ उत्तर भारत में सक्रिय हो रहा है, जिसके चलते 17 अप्रैल से प्रदेश के कुछ हिस्सों में फिर से बारिश देखने को मिल सकती है।अगले 48 घंटे में गर्मी के नाम, फिर लौटेगा बादलों का दौर
मौसम विभाग के अनुसार, 17 और 18 अप्रैल को प्रदेश के पूर्वी और पश्चिमी दोनों हिस्सों में मौसम शुष्क रहेगा। इन दो दिनों के दौरान धूप की तीव्रता और तापमान में वृद्धि देखने को मिलेगी। खासकर दोपहर के समय तेज धूप लोगों को परेशान कर सकती है। दिन में पारा चढ़ेगा और उमस भी बढ़ेगी।हालांकि, 17 अप्रैल से मौसम में दोबारा बदलाव आने की संभावना है। इस दिन पूर्वी उत्तर प्रदेश के कई जिलों में हल्की से मध्यम बारिश हो सकती है, जिसके बाद 18 और 19 अप्रैल को पूरे प्रदेश में गरज-चमक के साथ बारिश का अलर्ट जारी किया गया है। ऐसे में किसानों और आम नागरिकों को अगले कुछ दिनों तक सतर्क रहने की आवश्यकता है।तापमान में भी तेजी से बढ़ोतरी के संकेत राज्य के कई हिस्सों में तापमान ने फिर से रफ्तार पकड़ ली है। गुरुवार को झांसी प्रदेश का सबसे गर्म जिला रहा, जहां अधिकतम तापमान 37.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। वहीं, सबसे कम न्यूनतम तापमान फुर्सतगंज में 18.6 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया। मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि अगले 5 दिनों के भीतर अधिकतम तापमान में 3 से 5 डिग्री सेल्सियस तक का उछाल आ सकता है। इसी तरह न्यूनतम तापमान में भी 2 से 4 डिग्री तक की वृद्धि संभव है।गर्मी से बढ़ सकती है परेशानी, फिर मिलेगी थोड़ी राहत मौसम विज्ञानियों का कहना है कि पश्चिमी विक्षोभ के असर से पहले प्रदेश के अधिकांश हिस्सों में गर्मी और लू जैसे हालात बन सकते हैं। परंतु 18 अप्रैल से शुरू होने वाली बारिश से कुछ राहत मिलने की उम्मीद है। हालांकि, यह बारिश किसानों के लिए फायदे का सौदा हो सकती है, लेकिन तेज हवा और वज्रपात की स्थिति खतरनाक भी हो सकती है।
